Tue, Dec 30, 2025

ढाई साल में एक ही महिला का 25 बार प्रसव और 5 बार नसबंदी! जननी सुरक्षा योजना के तहत आगरा के स्वास्थ्य विभाग में बड़ा फर्जीवाड़ा

Written by:Shruty Kushwaha
Published:
फतेहाबाद सीएचसी में एक महिला के नाम पर 25 प्रसव और 5 नसबंदी दर्ज कर 45,000 रुपये का भुगतान किया गया है। इस बात का खुलासा ऑडिट के दौरान हुआ। ऑडिट रिपोर्ट में तीन संस्थानों में 38.95 लाख रुपये के संदिग्ध भुगतान का खुलासा हुआ है। इसे लेकर अब स्वास्थ्य विभाग ने जांच टीम गठित कर दी है और कहा है कि दोषियों पर एफआईआर कराई जाएगी।
ढाई साल में एक ही महिला का 25 बार प्रसव और 5 बार नसबंदी! जननी सुरक्षा योजना के तहत आगरा के स्वास्थ्य विभाग में बड़ा फर्जीवाड़ा

Janani Suraksha Yojana Scam in Agra : आगरा जिले में स्वास्थ्य विभाग में एक चौंकाने वाला घोटाला सामने आया है। यहां राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन (एनएचएम) के तहत संचालित जननी सुरक्षा योजना (जेएसवाई) और महिला नसबंदी प्रोत्साहन राशि में बड़े पैमाने पर फर्जीवाड़े का खुलासा हुआ है। ऑडिट रिपोर्ट के अनुसार, फतेहाबाद सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र (सीएचसी) में एक महिला के नाम पर ढाई साल में 25 बार प्रसव और 5 बार नसबंदी दिखाई गई है।

राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के अंतर्गत जननी सुरक्षा योजना के तहत ग्रामीण क्षेत्रों की प्रसूताओं को 1400 रुपये और शहरी क्षेत्रों में 1000 रुपये की राशि सरकार द्वारा प्रदान की जाती है। इसी प्रकार, महिला नसबंदी के लिए 2000 रुपये की सीधे लाभार्थी महिला के बैंक खाते में ट्रांसफर किया जाता है।

क्या है मामला

स्वास्थ्य विभाग की ओर से फतेहाबाद सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में हाल ही में कराई गई ऑडिट के दौरान यह सनसनीखेज मामला सामने आया। जांच में पाया गया कि फतेहाबाद सीएचसी के रिकॉर्ड में एक महिला के नाम पर बार-बार प्रसव और नसबंदी के दावे दर्ज किए गए। दस्तावेजों के मुताबिक, इस महिला को जननी सुरक्षा योजना के तहत प्रोत्साहन राशि के रूप में 45,000 रुपये का भुगतान किया गया। ढाई साल में इस महिला के नाम पर 25 बार प्रसव और 5 बार नसबंदी दिखाई गई है। इस कागज़ी कारनामों को अंजाम देने में सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के चिकित्सकों और सहायक स्टाफ की संलिप्तता की आशंका जताई जा रही है।

जांच टीम गठित

आगरा के तीन प्रमुख चिकित्सा संस्थानों सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र (CHC), लेडी लायन महिला अस्पताल और एसएस मेडिकल कॉलेज में किए गए कुल 38.95 लाख रुपये के भुगतान को संदिग्ध पाया गया है। इस खुलासे के बाद जिला प्रशासन और स्वास्थ्य विभाग में हड़कंप मच गया है। आगरा के मुख्य चिकित्सा अधिकारी (सीएमओ) डॉ. अरुण श्रीवास्तव ने कहा कि ऑडिट रिपोर्ट में एक महिला के नाम पर 25 बार प्रसव और 5 बार नसबंदी का दावा मिला है। ये या तो तकनीकी गड़बड़ी हो सकती है या फिर जानबूझकर किया गया फर्जीवाड़ा हो सकता है। इसके लिए एक जांच टीम गठित की गई है, जो हर पहलू की पड़ताल करेगी। सीएमओ ने कहा कि इसमें जिसकी भी संलिप्तता पाई जाएगी, उसके खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई जाएगी।