आईसीसी ने अपनी एनुअल मीटिंग में क्रिकेट के नियमों से लेकर नए टूर्नामेंट पर चर्चा की। इस दौरान कई बड़े फैसले लिए गए। जानकारी के मुताबिक, अब टेस्ट क्रिकेट में टू-टियर सिस्टम भी लागू किया जा सकता है। इसे लेकर आईसीसी ने सोमवार को मीटिंग में 8 सदस्यीय टीम भी बनाई है, जिसकी अध्यक्षता आईसीसी के नए सीईओ संजोग गुप्ता कर रहे हैं। बता दें कि अगर टू-टियर टेस्ट सिस्टम लागू होता है तो भारत, ऑस्ट्रेलिया और इंग्लैंड जैसे देशों के बीच टेस्ट सीरीज़ बढ़ जाएगी।
दरअसल, सभी देशों की टेस्ट टीमों को दो डिवीज़न में बांट दिया जाएगा। नंबर एक डिवीज़न में इंग्लैंड, ऑस्ट्रेलिया, इंडिया, साउथ अफ्रीका, न्यूज़ीलैंड, श्रीलंका और पाकिस्तान की टीमें शामिल रहेंगी। इन टीमों के बीच साल में ज़्यादा टेस्ट मुकाबले होंगे। जबकि दूसरे डिवीज़न में वेस्टइंडीज, बांग्लादेश, आयरलैंड, अफगानिस्तान और ज़िम्बाब्वे की टीमें शामिल रहेंगी। इन टीमों के बीच डिवीज़न-1 की तुलना में कम मैच खेले जाएंगे।
आईसीसी के दूसरे बड़े फैसले:
वहीं, 10 साल बाद फिर से चैंपियंस लीग T20 (CLT20) का आयोजन किया जा सकता है। यह भव्य टूर्नामेंट लोगों को बेहद पसंद आया था। अब आईसीसी इस टूर्नामेंट को फिर से शुरू करने पर विचार कर रही है। बता दें कि इस टूर्नामेंट में भारत, ऑस्ट्रेलिया और इंग्लैंड के क्रिकेट बोर्ड ने भी चर्चा की है। रिपोर्ट के मुताबिक इन देशों से समर्थन भी मिला है। आखिरी बार यह टूर्नामेंट साल 2014 में खेला गया था। इस टूर्नामेंट के आखिरी सीज़न में चेन्नई सुपर किंग्स ने फाइनल में कोलकाता नाइट राइडर्स को हराया था। दरअसल, इस टूर्नामेंट में बड़े देशों की T20 लीग की टीमें हिस्सा लेती हैं।
इनपर भी किया गया मीटिंग में विचार
इसके साथ ही आईसीसी के एक अन्य बड़े निर्णय में वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप के अगले तीन फाइनल की मेज़बानी को लेकर भी फैसला लिया गया है। दरअसल, अब एक बार फिर आने वाले तीन वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप फाइनल की मेज़बानी इंग्लैंड को ही दी गई है, जिनमें 2027, 2029 और 2031 के फाइनल शामिल हैं।
इसके साथ ही आईसीसी ने यूएस क्रिकेट बोर्ड को 3 महीने के अंदर चुनाव कराने के आदेश दिए हैं। आईसीसी ने साफ किया है कि अमेरिका क्रिकेट बोर्ड को 3 महीने के भीतर नए चुनाव कराने होंगे और आगे के टूर्नामेंट में इसी के चलते हिस्सा मिलेगा।
आईसीसी की एनुअल मीटिंग में अफगानी मूल की महिला क्रिकेटर्स को सपोर्ट देने के लिए एक बड़ी मुहिम शुरू की गई है। इसमें आईसीसी ने बीसीसीआई, ईसीबी और सीए के साथ मिलकर एक प्रोग्राम शुरू किया है, जिसमें हाई परफॉर्मेंस ट्रेनिंग, घरेलू क्रिकेट में मौके और दो टूर्नामेंट में भागीदारी शामिल रहेगी।





