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Thu, Dec 18, 2025

क्लब चुनाव की रंजिश ने लिया तूल, ‘छेड़ोगे तो छोड़ेंगे नहीं’ के नारे के साथ रूडी और बालियान के बीच बढ़ा टकराव

Written by:Saurabh Singh
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बालियान ने कहा कि उनके और रूडी के बीच व्यक्तिगत संबंध अच्छे हैं, लेकिन क्लब के बेहतर संचालन के लिए वह चुनाव में उतरे थे। उन्होंने रूडी पर तंज कसने और उनके समर्थकों पर टिप्पणी करने का आरोप लगाया, साथ ही कहा कि वह रूडी के दोस्तों पर कुछ नहीं बोलते।
क्लब चुनाव की रंजिश ने लिया तूल, ‘छेड़ोगे तो छोड़ेंगे नहीं’ के नारे के साथ रूडी और बालियान के बीच बढ़ा टकराव

कॉन्स्टिट्यूशन क्लब के प्रशासनिक सचिव पद के चुनाव के बाद बीजेपी सांसद राजीव प्रताप रूडी और संजीव बालियान के बीच विवाद बढ़ता जा रहा है। रूडी ने मुजफ्फरनगर में राजपूत वोटरों की नाराजगी का जिक्र करते हुए बालियान की लोकसभा हार पर तंज कसा, जिसके जवाब में बालियान ने चेतावनी दी कि अगर रूडी छेड़ना बंद नहीं करेंगे तो वह भी पलटवार करेंगे। बालियान ने क्लब चुनाव में फर्जी वोटिंग का गंभीर आरोप लगाया है।

बालियान ने कहा कि उनके और रूडी के बीच व्यक्तिगत संबंध अच्छे हैं, लेकिन क्लब के बेहतर संचालन के लिए वह चुनाव में उतरे थे। उन्होंने रूडी पर तंज कसने और उनके समर्थकों पर टिप्पणी करने का आरोप लगाया, साथ ही कहा कि वह रूडी के दोस्तों पर कुछ नहीं बोलते। यूपी तक के इंटरव्यू में बालियान ने चेताया, “लंबी खींचेंगे तो हम भी खींच देंगे।” उन्होंने फर्जी वोटिंग का दावा करते हुए कहा कि सांसद सौमित्र खान, पूर्व सांसद बृजेंद्र सिंह और राजाराम के नाम पर पहले ही वोट डाले गए थे।

बालियान ने चुनाव में धांधली का लगाया आरोप

बालियान ने चुनाव में धांधली का आरोप लगाते हुए बताया कि मतदान के बाद 629 वोटों की संख्या गिनती के समय 669 हो गई, जिसे गड़बड़ी बताया गया। उन्होंने सवाल उठाया कि 30-40 कर्मचारियों की मौजूदगी में 40 वोटों की गिनती कैसे गलत हो सकती है। बालियान ने कहा कि उन्होंने इसकी शिकायत लोकसभा स्पीकर से की, लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हुई। उनका दावा है कि अगर स्पीकर ने हस्तक्षेप किया होता तो नतीजे अलग हो सकते थे।

रूडी विवाद बढ़ाएंगे तो हम भी चुप नहीं

रूडी ने बालियान के समर्थक और बीजेपी सांसद निशिकांत दुबे को अहंकारी बताते हुए कहा कि वह उनकी ‘सरकार’ का हिस्सा नहीं हैं। बालियान ने जवाब में कहा कि वह कई बातें उजागर नहीं करना चाहते, लेकिन अगर रूडी विवाद बढ़ाएंगे तो वह भी चुप नहीं रहेंगे। इस झगड़े ने बीजेपी के भीतर राजपूत-जाट तनाव को उजागर किया है, जो उत्तर प्रदेश और बिहार की सियासत को प्रभावित कर सकता है।