मध्य प्रदेश के पुलिस महानिदेशक यानि DGP ने पुलिस थानों में लंबे समय से जमे आरक्षक, हवलदार और उप निरीक्षकों को हटाने का अर्थात ट्रांसफर करने का आदेश दो दिन पहले दिया था अब उन्होंने पुलिस अधिकारियों के कार्यालयों में लंबे समय से जमे कर्मचारियों को भी हटाने के निर्देश दिए हैं।
विशेष पुलिस महानिदेशक (प्रशासन) आदर्श कटियार ने पुलिस महानिदेशक कैलाश मकवाना द्वारा अनुमोदित एक आदेश जारी किया है। आदेश प्रदेश के समस्त जोनल अतिरिक्त महानिरीक्षक/ पुलिस महानिरीक्षक एवं पुलिस आयुक्त (इन्दौर / भोपाल) समस्त रेंज उप पुलिस महानिरीक्षक/समस्त अतिरिक्त पुलिस आयुक्त (इन्दौर/भोपाल) और समस्त पुलिस अधीक्षक (रेल सहित)/ समस्त पुलिस उपायुक्त (इन्दौर/भोपाल) को संबोधित कर दिया गया है।
आदेश में कहा गया है कि प्रायः यह देखने में आया है कि मध्य प्रदेश पुलिस की इकाई कार्यालय जिनमें पुलिस महानिरीक्षक जोन कार्यालय/ उप महानिरीक्षक रेंज कार्यालय/पुलिस अधीक्षक कार्यालय/अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक कार्यालय/ एसडीओपी कार्यालय में कुछ कर्मचारीगण जैसे रीडर/स्टेनो एवं उनके सहायक कर्मचारी लंबे समय से एक ही कार्यालय में पदस्थ होकर कार्य कर रहे है।
DGP ने दिए ये आदेश
लंबी समय से एक ही स्थान पर कार्य करने से निहित स्वार्थ की सभावना से इंकार नहीं किया जा सकता जिससे न सिर्फ पुलिस कार्यप्रणाली की पारदर्शिता प्रभावित होती है, साथ ही आमजन को शिकायत के अवसर भी प्राप्त होते हैं। इसलिए जरूरी है कि लंबी अवधि से एक ही कार्यालय में पदस्थ कर्मचारियों की पदस्थापना में समय समय पर परिवर्तन किया जाए जिससे न केवल अधिकारी/कर्मचारियों की कार्यक्षमता में वृद्धि होगी बल्कि शिकायत की संभावना भी कम होकर पुलिस की निष्पक्ष छवि प्रदर्शित होगी।
रीडर/स्टेनो एवं उनके सहायक कर्मचारियों के सेवाकाल की मांगी जानकारी
अतः यह निर्देशित किया जाता है कि आपके कार्यालय में लंबे समय से पदस्थ कर्मचारीगण जैसे रीडर/स्टेनो एवं उनके सहायक कर्मचारियों के सेवाकाल का परीक्षण कर यथासभव अन्यत्र पदस्थ कर कृत कार्यवाही से इस कार्यालय को अवगत कराएँ
पुलिस थानों में पदस्थ आरक्षक, हवलदार और उप निरीक्षकों के लिए दिया ये आदेश
गौरतलब है कि दो दिन पहले 11 जून को डीजीपी ने आदेश दिया था कि लम्बी अवधि से थानों में पदस्थ कर्मचारियों को समय समय पर स्थानांतरित किया जाए, आदेश में कहा गया था कि किसी एक थाने में किसी भी कर्मचारी की एक पद पर पदस्थापना सामान्यतः 4 वर्ष तथा अधिकततम 5 वर्ष से अधिक नहीं होनी चाहिए। किसी भी अधिकारी/कर्मचारी को इस अवधि की पदस्थापना पूर्ण होने के बाद पुनः उस पद पर उसी थाने में पदस्थ नहीं किया जाये। किसी भी कर्मचारी की पृथक पदों पर किसी एक थाने में पुनः पदस्थापना में कम से कम 3 वर्षों का अंतराल अवश्य रखा जाये। आरक्षक से लेकर उपनिरीक्षक के पद पर किसी भी कर्मचारी की एक ही अनुविभाग में विभिन्न पदों पर कुल पदस्थापना अवधि 10 वर्ष से अधिक नहीं हो।






