Fri, Dec 26, 2025

बदल गए नाबालिगों के लिए बैंक अकाउंट नियम, RBI ने किया ऐलान, नई गाइडलाइंस जारी, अब मिलेगी ये सुविधा, पढ़ें पूरी खबर

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बच्चों के लिए बैंक अकाउंट नियम बदले गए हैं। बैंकों को 1 जुलाई तक नई पॉलिसी लागू करने का निर्देश आरबीआई ने दिया है। इन बदलावों की जानकारी नागरिकों को होनी चाहिए?
बदल गए नाबालिगों के लिए बैंक अकाउंट नियम, RBI ने किया ऐलान, नई गाइडलाइंस जारी, अब मिलेगी ये सुविधा, पढ़ें पूरी खबर

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बच्चों और नाबालिगों के लिए बड़ा रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (RBI) ने अहम फैसला लिया है। 18 साल से कम आयुवर्ग के लिए बैंक अकाउंट खोलने और संचालन से जुड़े नियमों में बदलाव किया है। इससे संशोधित गाइडलाइंस भी जारी कर दी गई है। नए ढांचे में बैंकों को अभिभावक की निगरानी और बच्चों के अकाउंट के सुरक्षित संचालन को सुनिश्चित करने से साथ-साथ अधिक लचीलापन भी देता है। ताकि बच्चे अपनी जिम्मेदारियों को समझ सकें।

आरबीआई ने 10 वर्ष और इससे अधिक आयुवर्ग के नाबालिगों को अपना अकाउंट खुद खोलने और संचालन की अनुमति दे दी है। सभी बैंकों और एनबीएफसी को नया नियम लागू करने का निर्देश दिया गया है। केन्द्रीय बैंक ने सभी बैंकों को वित्तीय संकट को कम करने के लिए जमा राशि और निकासी से जुड़े कुछ नियम तय करने की सलाह दी है। बता दें कि कि प्रत्येक बैंक को इससे संबंधित अलग नियम तय की इजाजत दी गई है।

इन बदलावों को जरूर जान लें 

  • किसी भी आयु का नाबालिग अब अपने नाम से बैंक या एफडी अकाउंट खोल सकता है। अपनी माँ सहित अपने प्राकृतिक या कानूनी अभिभावक के जरिए खाते का संचालन कर सकता है।
  • 10 वर्ष से अधिक आयु के नाबालिग को खुद ही खाता संचालित करने की अनुमति होगी। हालांकि इसके लिए बैंक कुछ पॉलिसी बना सकते हैं, जिसकी जानकारी नाबालिग ग्राहक को देनी होगी।
  • अब नाबालिगों को डेबिट कार्ड, चेक बुक और इंटरनेट बैंकिंग जैसी सुविधाएं भी मिल सकती है। हालांकि बैंकों ओवरड्राफ्ट की अनुमति नहीं देंगे। यह सुनिश्चित करेंगे कि खाता हमेशा क्रेडिट भी रहे।
  • जैसे ही खाताधारक की उम्र 18 वर्ष होगी, बैंक नए परिचालन निर्देश और नमूना हस्ताक्षर की मांग करेंगे। यदि खाते को अभिभावक मैनेज कर रहे हैं तो ऐसी स्थित में बैंक शेष राशि की पुष्टि करेंगे।

बैंकों को दी गई ये सलाह?

आरबीआई ने सभी बैंकों को नए गाइडलाइंस से तहत मौजूदा नीतियों में बदलाव करने का निर्देश दिया है। 1 जुलाई 2025 तक संशोधित मानदंडों के तहत नए नियम लागू करने को कहा है। तब तक मौजूदा पॉलिसी जारी रह सकती है।