छत्तीसगढ़ के जाने-माने हिंदी साहित्यकार विनोद कुमार शुक्ल का आज मंगलवार को निधन हो गया है। एक महीने पहले ही उन्हें भारत के सर्वोच्च साहित्यिक सम्मान ज्ञानपीठ पुरस्कार से नवाजा गया था। विनोद शुक्ल पिछले कुछ महीनों से बीमार चल रहे थे। उनका रायपुर एम्स में इलाज चल रहा था। सांस लेने में दिक्कत के कारण उन्हें वेंटिलेटर में ऑक्सीजन सपोर्ट पर रखा गया था।
राजनांगांव में हुआ था विनोद कुमार शुक्ल का जन्म
विनोद कुमार शुक्ल का जन्म 1 जनवरी 1937 को राजनांदगांव छत्तीसगढ़ में हुआ था। उन्होंने अध्यापन को अपना पेशा बनाया और साहित्य सृजन पर पूरा ध्यान केंद्रित किया। उनकी लेखन शैली सरल भाषा, गहरी संवेदनशीलता और विशिष्टता के लिए जानी जाती है। शुक्ल ने उपन्यास और कविता विधाओं में महत्वपूर्ण योगदान दिया।
1971 में प्रकाशित हुई थी विनोद शुक्ल की पहली कविता
उनकी पहली कविता ‘लगभग जयहिंद’ 1971 में प्रकाशित हुई थी। उनके प्रमुख उपन्यासों में ‘नौकर की कमीज’, ‘दीवार में एक खिड़की रहती थी’ और ‘खिलेगा तो देखेंगे’ शामिल हैं। ‘नौकर की कमीज’ पर फिल्म भी बनी और ‘दीवार में एक खिड़की रहती थी’ को साहित्य अकादमी पुरस्कार मिला।
सीएम विष्णुदेव साय ने जताया शोक
छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर पोस्ट कर विनोद कुमार शुक्ल के निधन पर शोक व्यक्त किया है। उन्होंने लिखा है कि महान साहित्यकार विनोद कुमार शुक्ल का निधन एक बड़ी क्षति है। नौकर की कमीज, दीवार में एक खिड़की रहती थी जैसी चर्चित कृतियों से साधारण जीवन को गरिमा देने वाले विनोद जी छत्तीसगढ़ के गौरव के रूप में हमेशा हम सबके हृदय में विद्यमान रहेंगे। संवेदनाओं से परिपूर्ण उनकी रचनाएँ पीढ़ियों को प्रेरित करती रहेंगी। उनके परिजन एवं पाठकों-प्रशंसकों को हार्दिक संवेदना।
महान साहित्यकार विनोद कुमार शुक्ल जी का निधन एक बड़ी क्षति है। नौकर की कमीज, दीवार में एक खिड़की रहती थी जैसी चर्चित कृतियों से साधारण जीवन को गरिमा देने वाले विनोद जी छत्तीसगढ़ के गौरव के रूप में हमेशा हम सबके हृदय में विद्यमान रहेंगे।
संवेदनाओं से परिपूर्ण उनकी रचनाएँ पीढ़ियों… pic.twitter.com/47mFIzFYBc
— Vishnu Deo Sai (@vishnudsai) December 23, 2025
पूर्व सीएम भूपेश बघेल ने जताया शोक
पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने ट्वीट कर लिखा कि छत्तीसगढ़ की साहित्यिक धरोहर, ज्ञान पीठ पुरस्कार से सम्मानित, हम सबके गौरव विनोद कुमार शुक्ल का जाना छत्तीसगढ़ सहित देश भर के लिए अपूरणीय साहित्यिक क्षति है। उन्होंने रायपुर के AIIMS अस्पताल में आज अंतिम सांस ली है। मैं ईश्वर से उनकी दिवंगत आत्मा की शांति की कामना करता हूं। ईश्वर उनके परिवारजनों, उनके शुभचिंतकों एवं चाहने वालों को यह दुख सहने की शक्ति प्रदान करे। इसके साथ ही भूपेश बघेल ने सीएम विष्णुदेव साय से अनुरोध किया है कि विनोद कुमार शुक्ल के निधन पर तत्काल राजकीय शोक घोषित करें।
मैं छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री माननीय श्री विष्णुदेव साय जी से अनुरोध करता हूँ कि स्व. विनोद कुमार शुक्ल जी के निधन पर तत्काल राजकीय शोक घोषित करें.
प्रदेश में इस दौरान किसी भी प्रकार के उत्सव, महोत्सव को कुछ दिनों के लिए टाल दें. यह हम सबका साझा दुःख है. @vishnudsai… https://t.co/etNL2Rb5nW
— Bhupesh Baghel (@bhupeshbaghel) December 23, 2025





