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Sat, Dec 20, 2025

भारतीय रेलवे को भी देना पड़ता है बिजली बिल, 1 दिन का खर्च सुनकर उड़ जाएंगे आपके होश

Written by:Sanjucta Pandit
Published:
रेलवे ट्रेन के डब्बे में दो तरह के बिजली सप्लाई करता है। पहला- डायरेक्ट हाई टेंशन वायर तो दूसरा पावर जेनरेट है। अक्सर आपने देखा होगा की ट्रेन में एक जनरेटर का कोच लगा होता है, जिसमें डीजल के जरिए बिजली तैयार किया जाता है।
भारतीय रेलवे को भी देना पड़ता है बिजली बिल, 1 दिन का खर्च सुनकर उड़ जाएंगे आपके होश

Indian Railways : भारतीय रेलवे दुनिया का चौथा सबसे बड़ा नेटवर्क है। इसे चार जोन में बांटा गया है, जिनमें प्रमुख पूरब, पश्चिम, उत्तर और दक्षिण है। यह एक ऐसा माध्यम है, जिसमें लोग बहुत कम पैसे में भी अपनी मंजिल तक पहुंच सकते हैं। लोगों के अलावा गुड्स ट्रेन भी चलाई जाती हैं, जिनके माध्यम से सामान एक स्थान से दूसरे स्थान तक आसानी से पहुंच जाता है। यह भारत को आर्थिक रूप से बहुत अधिक मजबूती प्रदान करता है।

भारत में प्रतिदिन लगभग 1300 से अधिक ट्रेन देश के हर कोने से संचालित होती है, जिसमें हजारों लाखों यात्री सफर करते हैं। किसी सीजन या त्योहार में स्पेशल ट्रेन भी चलाई जाती है, ताकि यात्रियों को बेहतर सुविधा मुहैया कराई जा सके।

भारतीय रेलवे (Indian Railways)

इसमें VIP ट्रेन, शताब्दी, राजधानी, एक्सप्रेस, सुपरफास्ट, लोकल, मालगाड़ी, आदि शामिल है। रेल के द्वारा लोग कम पैसे से लेकर अधिक पैसे में भी ट्रैवल करते हैं। इस दौरान वह नया अनुभव प्राप्त करते हैं। जब भी कोई ट्रेन में ट्रेवल करता है, तो वह कई राज्यों से होकर गुजरता है। इस दौरान उन्हें तरह-तरह के लोगों से मुलाकात करने का मौका मिलता है। बहुत सी भाषाओं को जानने का मौका मिलता है। इसके अलावा, खान-पान और जीवनशैली को नजदीक से देखने का भी मौका मिलता है। ऐसे में दिमाग में तरह-तरह के सवाल आते हैं कि आखिर रेलवे को किसने बनाया होगा… रेल पटरी कैसे बिछाई जाती है… इनमें से एक सवाल ऐसा भी है कि एक दिन में ट्रेन की बिजली का बिल कितना आता होगा।

यह सुनकर आश्चर्य जरूर हो रहा होगा, लेकिन यह बिल्कुल सच है कि आम जनता की तरह रेलवे को भी बिजली का बिल देना पड़ता है। अच्छे से अच्छे मेधावी छात्र भी इस प्रश्न का उत्तर शायद नहीं जानते होंगे, लेकिन प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी करने वाले स्टूडेंट के लिए और सामान्य ज्ञान के लिहाज से इसका जवाब पता होना जरूरी है।

चुकाने होते हैं इतने बिल

दरअसल, भारतीय रेलवे को ट्रेन और रेलवे स्टेशन के लिए प्रति यूनिट 7 रुपये चुकाने पड़ते हैं। ट्रेन की एक बोगी में हर घंटे लगभग 210 यूनिट बिजली की खपत होती है। इस हिसाब से 12 घंटे में प्रति बोगी बिजली का खर्च 17,640 रुपये होता है। स्लीपर और जनरल कोच के लिए यह खपत प्रति घंटे करीब 120 यूनिट होती है, उस हिसाब से 1440 यूनिट बिजली के लिए रेलवे को 10,080 चुकाने होते हैं। ट्रेन का कुल बिजली खर्च 5,76,000 प्रतिदिन होता है, जो भारतीय रेलवे को चुकाने पड़ते हैं। हाई टेंशन वायर के जरिए प्रतिदिन 18.83 लाख रुपए खर्च बैठता है।

बता दें कि रेलवे ट्रेन के डब्बे में दो तरह के बिजली सप्लाई करता है। पहला- डायरेक्ट हाई टेंशन वायर तो दूसरा पावर जेनरेट है। अक्सर आपने देखा होगा की ट्रेन में एक जनरेटर का कोच लगा होता है, जिसमें डीजल के जरिए बिजली तैयार किया जाता है।

(Disclaimer: यहां मुहैया सूचना सिर्फ मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है। MP Breaking News किसी भी तरह की मान्यता, जानकारी की पुष्टि नहीं करता है। किसी भी जानकारी या मान्यता को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह लें।)