Fri, Dec 26, 2025

ट्रेकिंग से लेकर बुंदेली व्यंजन तक, MP के इस गांव में है सब कुछ खास!

Written by:Sanjucta Pandit
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देश ही नहीं बल्कि विदेश से भी लोग भारत में घूमने-फिरने आते हैं। इससे देश की अर्थव्यवस्था को भी मजबूती मिलती है। यहां का हर एक शहर, हर एक गांव अपनी अलग महत्व के लिए जाना जाता है।
ट्रेकिंग से लेकर बुंदेली व्यंजन तक, MP के इस गांव में है सब कुछ खास!

भारत (MP) में घूमने वाली जगह के कोई कमी नहीं है। पूरब से लेकर पश्चिम तक… उत्तर से लेकर दक्षिण तक… देश के चारों दिशाओं में पहाड़ की वादियों से लेकर समुद्री तट… मंदिर से लेकर कई सारे ऐतिहासिक जगह है। यहां सालों भर पर्यटकों का आना-जाना लगा रहता है। देश ही नहीं बल्कि विदेश से भी लोग भारत में घूमने-फिरने आते हैं। इससे देश की अर्थव्यवस्था को भी मजबूती मिलती है। यहां का हर एक शहर, हर एक गांव अपनी अलग महत्व के लिए जाना जाता है। कई सारे इतिहास और रहस्य को अपने साथ समेटे इन स्थानों में लोगों को स्थानीय खानपान, पहनावा-उढ़ावा और परंपरा को नजदीक से जानने का मौका मिलता है।

आज हम आपको उन गांव के बारे में बताएंगे, जहां प्रकृति की अनमोल खूबसूरती आपका मन मोह लेगी। पर्यटक यहां पर ट्रैकिंग का लुफ्त उठाने आते हैं। यह धीरे-धीरे लोकप्रिय डेस्टिनेशन बनता जा रहा है। जिस पर केंद्र और राज्य सरकार ज्यादा ध्यान दे रही है, ताकि तेजी से इन स्थानों का विकास किया जा सके और पर्यटकों को अत्यधिक सुविधा उपलब्ध कराई जा सके।

MP में स्थित है यह गांव

दरअसल, आज हम आपको मध्य प्रदेश में स्थित उस गांव के बारे में बताने जा रहे हैं, जो कि विश्व भर में फेमस है। वैसे तो एमपी को भारत का दिल कहा जाता है। सालों भर यहां पर्यटकों की भीड़ उमड़ती है। बता दें कि पूरे देश भर में सिर्फ तीन ऐसे गांव है, जिन्हें बेस्ट टूरिज्म विलेज का अवार्ड मिला है। उनमें से मध्य प्रदेश का यह गांव भी शामिल है।

लाडपुरा गांव

इस गांव का नाम लाडपुरा गांव है, जो कि निवाड़ी जिले में स्थित है। यहां की खूबसूरती लोगों का मन मोह लेती है। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, नेशनल वर्ल्ड टूरिज्म ऑर्गनाइजेशन द्वारा इस गांव को बेस्ट टूरिज्म विलेज का अवार्ड दिया जा चुका है। आने वाले पर्यटक खूबसूरती के मुरीद हो जाते हैं। वह इनकी तारीफ करते नहीं थकते। यह साफ सुथरा विलेज पर्यटकों को बहुत पसंद आता है। यहां मिलने वाली सुविधाएं शहरों से भी ज्यादा बेहतर होती है। यहां सैलानियों को बुंदेली व्यंजनों का स्वाद चखने का मौका मिलता है। साथ ही यहां के लोगों का रहन-सहन, खेती बाड़ी का तरीका को सामने से देखने मिलता है।